दो साल पहले ही दे दी गईं थीं सारी सूचनाएं : चुनाव आयोग

नई दिल्ली। चुनाव आयोग ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी के सभी आरोपों को खारिज करते हुए गुरुवार को कहा कि उन्हें आलंद विधानसभा क्षेत्र के बारे में जो जानकारी चाहिए थी वह कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने कलबुर्गी के पुलिस अधीक्षक को दो साल पहले ही उपलब्ध करा दी थी।

आयोग ने गुरुवार को आलंद को लेकर गांधी के सवाल पर कहा कि यह प्रकरण 2023 का है और इस बारे में प्राथमिकी 21 फरवरी 2023 को दर्ज की गई थी और इससे संबंधित सारी जानकारी आयोग 6 सितंबर 2023 को कलबुर्गी के पुलिस अधीक्षक को साझा कर चुका है।

चुनाव आयोग ने इस प्रकरण पर यह भी कहा कि निर्वाचन कार्यालय को फॉर्म-7 में कुल 6,018 आवेदन प्राप्त हुए, जो कि एनवीएसपी, वीएचए, गरुड़ ऐप्स आदि के माध्यम से दिसंबर 2022 में ऑनलाइन जमा किए गए थे। आयोग को जब लगा कि आलंद विधानसभा क्षेत्र में मतदाताओं के नाम इतने बड़े पैमाने पर ऑनलाइन आवेदन आ रहे हैं तो उसे मामला संदेहास्पद लगा तो प्रत्येक आवेदन का सत्यापन कराया गया जिनमें से केवल 24 आवेदन सही पाए गए और शेष 5,994 आवेदन गलत पाए गए।

गांधी के आवेदन हटाने के आरोप पर आयोग ने स्पष्ट किया कि इनमें से 24 आवेदन स्वीकार किए गए और 5,994 गलत आवेदन खारिज कर दिए गए। उन्होंने स्पष्ट किया इन आवेदनों को हटाया नहीं गया सिर्फ खारिज किया गया है।

आयोग ने कहा कि इस बारे में मांगी गई जानकारी उपलब्ध कराने के बाद, मुख्य निर्वाचन अधिकारी, कर्नाटक ने जांच अधिकारी और साइबर सुरक्षा विशेषज्ञों के साथ बैठकें कीं ताकि जांच की प्रगति की समीक्षा की जा सके। उन्होंने गांधी द्वारा आयोग पर लगाए सभी आरोपों को गलत बताया और कहा कि मुख्य निर्वाचन अधिकारी, कर्नाटक लगातार जांच एजेंसी को इस मामले में आवश्यक मदद कर रहा है।