दिल्ली में 10 बांग्लादेशी नागरिक अरेस्ट, पहचान छुपाने को ट्रांसजेंडर का भेष

नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस की विदेशी शाखा ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए 10 बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया है। दरअसल ये लोग दिल्ली के शालीमार बाग और महेन्द्रा पार्क थाना क्षेत्रों में अवैध रूप से रह रहे थे। इन लोगों ने अपनी असली पहचान छुपाने के लिए ट्रांसजेंडर का भेष अपनाया हुआ था और वे भीख मांगने और आपत्तिजनक गतिविधियों में शामिल थे।

उत्तरी-पश्चिमी दिल्ली के पुलिस उपायुक्त भीष्म सिंह ने बताया कि इन गिरफ्तारियों के साथ उनके पास से सात स्मार्टफोन और बांग्लादेशी राष्ट्रीय पहचान पत्र भी बरामद किए गए हैं। इन फोन में प्रतिबंधित ‘आईएमओ’ ऐप भी मिला है, जिसका इस्तेमाल इनके द्वारा बांग्लादेश में संपर्क के लिए किया जाता है।

पुलिस को हैदरपुर मेट्रो स्टेशन और नई सब्जी मंडी, महेन्द्रा पार्क के पास कुछ संदिग्ध बांग्लादेशी नागरिकों के होने की सूचना मिली थी। इस सूचना के आधार पर विदेशी शाखा के इंस्पेक्टर चैतन्य अभिजीत के नेतृत्व में एक विशेष टीम गठित की गई। टीम ने छापेमारी कर शालीमार बाग क्षेत्र में आठ और महेन्द्रा पार्क में दो संदिग्धों को पकड़ा। शुरुआती पूछताछ में इन लोगों ने खुद को भारतीय नागरिक बताया, लेकिन उनके विरोधाभासी बयानों और संदिग्ध हावभाव ने पुलिस को उन पर शक करने के लिए मजबूर कर दिया।

जांच के दौरान उनके दस्तावेजों, मोबाइल फोन की गैलरी और सोशल मीडिया अकाउंट्स की पड़ताल की गई। पुलिस को उनके फोन से बांग्लादेश में खींची गई तस्वीरें और ऑनलाइन गतिविधियों के प्रमाण मिले, जिनसे यह साबित हुआ कि वे अवैध रूप से भारत में रह रहे थे। कड़ी पूछताछ के बाद उन्होंने अपनी असली बंगलादेशी नागरिकता स्वीकार कर ली और अपने राष्ट्रीय पहचान पत्र दिखाए।

उन्होंने यह भी बताया कि वे महिलाओं जैसा दिखने के लिए जेंडर-अफर्मिंग सर्जरी करा चुके थे। अपनी पहचान छुपाने के लिए वे भारी मेकअप, साड़ी, और नकली बालों का इस्तेमाल करते थे। उन्होंने अपनी आवाज और हावभाव भी महिलाओं की तरह बना रखे थे। सभी लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया है। उनके निर्वासन की प्रक्रिया एफआरआरओके साथ मिलकर शुरू की जा रही है।