Home Astrology कुण्डली में शनि मेहरबान, तो बनेगा हर काम

कुण्डली में शनि मेहरबान, तो बनेगा हर काम

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कुण्डली में शनि मेहरबान, तो बनेगा हर काम
shani dosh nivaran puja
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भोपाल। शनि एक ऐसा ग्रह है जिसके नाम से ही व्यक्ति के अंदर डर बैठ जाता है। यदि किसी की कुंडली में शनि का नकारात्मक प्रभाव आ जाए तो व्यक्ति को लगता है कि अब उसके बुरे दिन शुरू, लेकिन इसके विपरीत शनि जातकों को समय-समय पर अच्छा लाभ भी देता है।

यह लाभ इतना अच्छा होता है कि वह व्यक्ति को फकीर से अमीर बनाने की शक्ति रखता है। व्यक्ति की कुंडली में अगर शनि का शुभ योग हो तो उसे कभी किसी क्षेत्र में असफलता हाथ नहीं लगती।

आचार्य भरत दुबे हिस को बताते हैं कि शनि व्यक्ति को उनके कर्मों के अनुसार फल देते हैं। यह हमारी आकाशगंगा में सूर्य के चारो ओर घूमने में अन्य ग्रहों की तुलना में सबसे अध‍िक वक्त लेते हैं, इसीलिए इन्हें सभी ग्रहों में न्यायाधीश माना गया है। यह प्रत्येक मनुष्य को उसके अच्छे और बुरे कर्म के अनुसार फल प्रदान करते हैं। आचार्य भरत आगे कहते हैं कि ज्योतिषशास्त्र के अनुसार जिनकी जन्मकुण्डली में शनि पहले, चौथे, सातवें अथवा दसवें घर में अपनी राशि मकर या कुंभ में विराजमान होता है। उनकी कुण्डली में पंच महापुरूष योग में शामिल एक शुभ योग बनता है।

इस योग को शश योग के नाम से जाना जाता है। यह एक प्रकार का राजयोग है। शनि अगर तुला राशि में भी बैठा हो तब भी यह शुभ योग अपना फल देता है। इसका कारण यह है कि शनि इस राशि में उच्च का होता है। जिनकी कुण्डली में यह योग मौजूद होता है वह व्यक्ति गरीब परिवार में भी जन्म लेकर भी एक दिन धनवान बन जाता है।

इसके अलावा यदि कुण्डली में शनि का यह योग नहीं बन रहा है, लेकिन जन्म तुला या वृश्चिक लग्न में हुआ है और शनि कुण्डली में मजबूत स्थिति में है तब आप भूमि से लाभ प्राप्त कर सकते हैं। गुरू की राशि धनु अथवा मीन में शनि पहले घर में बैठे हों तो व्यक्ति धनवान होता है। उसे जिंदगी में कभी भी आर्थिक तंगी नहीं होती।

आचार्य भरत के अनुसार यह तो कुंडली योग का प्रभाव है, किंतु वैसे भी जो जातक सत्य के मार्ग पर चलते हैं और धर्म का आचरण करते हुए जीवन को व्यतीत करते हैं, उनके भले ही कुंडली में ग्रह बलवान ना भी हों पर शनिदेव उन पर अपनी विशेष कृपा बरसाते हैं। ऐसे जातकों को जीवन के उत्तरार्ध में ही सही उच्च पद, राजा यानि वर्तमान में प्रशासन से प्रशंसा और कई प्रकार के लाभ प्राप्त होते हैं।

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