Home India City News अमित शाह पहुंचे मृतक किसान गजेन्द्र के घर, बंधाया ढांढस

अमित शाह पहुंचे मृतक किसान गजेन्द्र के घर, बंधाया ढांढस

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अमित शाह पहुंचे मृतक किसान गजेन्द्र के घर, बंधाया ढांढस
अमित शाह पहुंचे मृतक किसान गजेन्द्र के घर
BJP president amit shah meets gajendra singh's family
BJP president amit shah meets gajendra singh’s family

जयपुर। दिल्ली में आम आदमी की ओर से आयोजित किसान रैली में आत्महत्या करने वाले दौसे जिले के नांगल झामरवाड़ा गांव में किसान गजेन्द्रसिंह के घर भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह और मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे पहुंची।

उन्होंने गमगीन माहौल में स्व. सिंह के शोकाकुल परिवार से मिलकर उन्हें ढांढस बंधाया तथा हर सम्भव सहायता का विश्वास दिलाया। इस दौरान चिकित्सा मंत्री राजेन्द्र राठौड़ भी उनके साथ थे।

BJP president amit shah meets gajendra singh's family
cm raje meets gajendra singh’s family

मुख्यमंत्री ने स्व. गजेन्द्र सिंह की पत्नी हेमलता को गले लगाकर उसके आंसू पौंछते हुए हिम्मत रखने को कहा। राजे ने उनके पिता बन्ने सिंह से कहा कि हमारी धरती के एक होनहार पुत्र की असामयिक मौत हो गई है, जिससे उन्हें दुख एवं आघात पहुंचा है।

गमगीन पिता ने मुख्यमंत्री से कहा कि मेरा पुत्र आत्महत्या नहीं कर सकता। इस मामले की सीबीआई से जांच होनी चाहिए। इस पर मुख्यमंत्री ने उन्हें निष्पक्ष जांच का विश्वास दिलाया।
परिजनों ने हस्तलिखित डायरी दिखाकर कहा सुसाइड नोट फर्जी

राजे ने गजेन्द्र सिंह की पुत्री मेघा, पुत्र धीरेन्द्र सिंह एवं राघवेन्द्र सिंह को भी अपने पास बुलाकर उन्हें सांत्वना दी। उन्होंने मृतक के भाई विजेन्द्र सिंह से भी बात की। शोकाकुल परिजनों ने मुख्यमंत्री व भाजपा अध्यक्ष शाह को गजेन्द्र सिंह की डायरी और उनका कथित सुसाइड नोट की प्रति दिखाकर उनकी हैंड-राइटिंग के बारे में कहा कि दोनों में बहुत ज्यादा स्पष्ट भिन्नता है। उन्होंने कहा कि हम गजेन्द्र सिंह की राइटिंग को जानते हैं और जिस कागज को सुसाइड नोट बताया जा रहा है वह हमारे बेटे द्वारा हस्तलिखित नहीं है।

स्थानीय विधायक अल्का सिंह ने राजे व शाह को मृतक की पारिवारिक पृष्ठभूमि के बारे में जानकारी दी। परिजनों ने गजेन्द्र सिंह का फोटो एलबम भी दिखाया, जिसे देखकर एक बार तो मुख्यमंत्री स्वयं भाव-विह्वल हो गईं। इस एलबम में गजेन्द्र सिंह के विभिन्न मुद्राओं में अलग-अलग ढंग से पगड़ी बांधे हुए चित्र थे।

 

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