Home World Europe/America फ्रांस ने सख्त आतंकवाद रोधी कानून को मंजूरी दी

फ्रांस ने सख्त आतंकवाद रोधी कानून को मंजूरी दी

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फ्रांस ने सख्त आतंकवाद रोधी कानून को मंजूरी दी
France Approves Tough new Anti-Terror laws
France Approves Tough new Anti-Terror laws
France Approves Tough new Anti-Terror laws

पेरिस। फ्रांस ने नए आतंकवाद रोधी कानून को मंजूरी दे दी है जिसके तहत बिना न्यायिक मंजूरी के किसी शख्स को उसके शहर तक ही सीमित किया जा सकेगा और उसके घर की तालाशी भी ली जा सकेगी। एक मीडिया रिपोर्ट में इस बात की जानकारी दी गई है।

बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक इस नए कानून के 1 नवंबर को खत्म हो रहे आपातकाल से पहले लागू होने की उम्मीद जताई जा रही है।

यह नया कानून न्यायाधीशों के बजाय सरकार के सदस्यों को अनुमति देता है कि वे संदिग्ध व्यक्तियों को उनके गृह शहरों तक ही सीमित कर सकें और ऐसे लोगों को दिन में एक बार पुलिस को रिपोर्ट करने की आवश्यकता होगी।

इस नए कानून के तहत प्राधिकारियों को इजाजत होगी कि वह खतरे को देखते हुए संवेदनशील इलाकों जैसे रेलवे स्टेशन और हवाईअड्डे पर सुरक्षा व्यवस्था के मानकों को बढ़ा सकें और लोगों के साथ-साथ वाहनों की जांच की जा सके।

बीबीसी की रिपोर्ट में कहा गया है कि कानून के तहत अगर मस्जिदों व अन्य स्थलों से प्रचारकों को कट्टरपंथी विचारधारा का प्रसार करते हुए पाया गया तो ऐसे स्थलों को बंद करवाया जा सकेगा।

देश की संसद के निचले सदन द्वारा मंजूरी दिए जाने के बाद, इसके जरिए पिछले दो सालों से चल रही आपातकालीन स्थिति का अंत हो जाएगा।

इस्लामिक स्टेट (आईएस) आतंकी समूह द्वारा नवंबर 2015 में हमले में मारे गए 130 लोगों के बाद सरकार द्वारा शुरू की गई आपातकालीन व्यवस्था के कई प्रावधानों को नए कानून में शामिल किया गया है।

आईएस द्वारा 13 नवंबर को किए आंतकी हमले के बाद लागू की गई आपात स्थिति को छह बार आगे बढ़ाया जा चुका है।

बीबीसी की रिपोर्ट में कहा गया है कि इस बात पर देश में सहमति बनी कि देश में आपात स्थिति को अनिश्तिकाल के लिए लागू रखना किसी भी तरह से लोकतांत्रिक नहीं होगा, जिसके बाद इस नए कानून को मंजूरी दी गई। विधेयक को 127 वोटों के मुकाबले 415 वोट से मंजूरी मिली। 19 सदस्य अनुपस्थित रहे।

आंतरिक मंत्री गेर्राड कोलोंब ने मंगलवार को संसद को बताया कि खतरे का स्तर काफी गंभीर बना हुआ है और हम अभी भी एक युद्ध की स्थिति में हैं। फ्रांस में बहुत से लोग इस कानून से खुश हैं लेकिन मानवाधिकार समूह इसकी आलोचना कर रहे हैं।

कंजरवेटिव ली फिगारो अखबार द्वारा हाल ही में हुए एक सर्वेक्षण में पाया गया कि 57 प्रतिशत फ्रांसीसी लोगों ने इस कानून के उपायों पर अपनी सहमति जाहिर की है।

फ्रांस के ह्यूमन राइट्स वॉच के निदेशक बेनेडिक्ट जैनेरोद ने कहा कि फ्रांस आतंकवाद के के खिलाफ न्यायिक देखरेख में लगातार कमजोर हो रहा है और आपातकालीन शक्तियों का सामान्यीकरण एक नई रेखा को पार कर रहा है।