आबूरोड नगर पालिका की बाड ही तो नहीं खा रही है खेत!

आबूरोड नगर पालिका क्षेत्र के ठेके के सफाई वाले वार्ड में आकरा भट्टा में संविदाकर्मी के पास नजर आया नगर पालिका का व्हील बेराज।

परीक्षित मिश्रा 

सबगुरु न्यूज – आबूरोड। नगर पालिका के सफाई ठेके पर दिए गए वार्ड में जो देखने को मिला वो ये बता रहा है कि नगर पालिका आबूरोड की नगर पालिका को चूना लगाने वाली कमजोर कडी मौजूद है। आकराभट्टा क्षेत्र में जो दिखा वो आबूरोड नगर पालिका द्वारा राजकोष को चूना लगाकर जनधन के दुरुपयोग और सरकारी संपत्ति की माॅनीटरिंग की फेलियर की गवाही दे रहा है। स्टोर से व्हील बैराज निकलकर चले जाना और स्टोर कीपर व सफाई निरीक्षक की नजर इन पर नही पडना सरकारी संपत्ति की माॅनीटरिंग की घोर लापरवाही या फिर सहमति की ओर इशारा कर रहा है।

-नगर पालिका स्टोर के व्हील बेराज सडकों पर

आबूरोड नगर पालिका के क्षेत्र में 40 वार्ड हैं। मुख्य शहर के 13 वार्डों को छोडकर शेष 27 वार्डों को पांच जोन में बांटा गया है। जोनवार इनमें सफाई की व्यवस्था ठेके पर दी हुई है। नगर पालिका ने संवेदक को सशर्त ठेका दिया है। आबूरोड नगर पालिका के वार्ड संख्या एक से पांच तक शुक्रवार को संविदा पर सफाई कर रहे कार्मिकों के पास नगर पालिका आबूरोड लिखे व्हील बैराज नजर आए। ये व्हील बेराज नगर पालिका की वो सम्पत्ति है जो कि स्टोर के माध्यम से नगर पालिका खरीदती है।

स्टोर में सप्लाई देने के दौरान सप्लायर व्हील बेराजों पर संबंधित नगर पालिका नाम और व्हील बैराज की संख्या व खरीद का वर्ष लिखता है। इसी तरह के व्हील बैराज आबूरोड नगर पालिका के स्थाई सफाई कर्मियों वाले वार्डों में भी कार्मिकों के पास दिखे। ये बता रहा है कि ठेके वाले वार्डों और नगर पालिका के सफाई कर्मियों के अधीन वार्डों में एक ही जगह से निकले व्हील बैराज हैं। अब नगर पालिका आबूरोड के स्टोर से व्हील बैराज निकलकर सफाई ठेकेदार वाले वार्डों में कैसे पहुंच गए ये जांच का विषय है। ये बता रहा है कि नगर पालिका में कोई तो है जो ठेकेदार को अनुचित लाभ देकर अपना कोई हित साध रहा है।

-अपने उपकरण जरूरी

आबूरोड नगर पालिका के लिए नवम्बर 2024 में निकाली गई निविदा में कुल 42 शर्तें हैं। इन शर्तों में छठी शर्त ये है कि संवेदक सफाई में काम आने वाले झाडू, फावडा, तगारी, पंजेटी, व्हील बैराज आदि स्वयं लेकर आएगा। नगर पालिका क्षेत्र में सफाई ठेके वाले वार्ड में जो व्हील बैराज नजर आए उस पर नगर पालिका आबूरोड के साथ वर्ष 2023-24 लिखा हुआ था। ये वर्ष इशारा कर रहा है कि नगर पालिका ने इस वित्तीय वर्ष के बजट में इन्हें खरीदा है।

-मांग नहीं थी तो मंगवाए क्यों?

राजस्थान प्रोक्योरमेंट रूल 2012 के नियम 5 के उपनियम एक के अनुसार कोई भी सरकारी संस्थान किसी भी वस्तु की खरीद से पहले उसकी आवश्यकता की जानकारी लेगी। इसके बाद क्रय समिति इस पर आगे कार्यवाही बढाएगी। नगर पालिकाओं में भी ये प्रावधान लागू होता है। नगर पालिका आबूरोड के व्हील बेराज सफाई ठेकेदार के पास नजर आने पर ये दलील दी जा रही है कि इनसे किराया वसूल लिया जाता है। लेकिन, ये दलील ये बता रही है कि नगर पालिका आबूरोड ने प्रोक्योरमेंट रूल को दरकिनार करके खरीद की है।

नगर पालिका ने जब व्हील बैराज खरीदे तो वो आवश्यकता के अनुसार खरीदे होंगे। अपनी आवश्यकता से एक दो अधिक हो तो चल सकता है। जब नगर पालिका के अपने कार्मिकों के अधीन सफाई वाले वार्ड ही 13 हैं तो उसने इतने व्हील बैराज मंगवा कैसे लिए कि वो दोगुनी संख्यामें अतिरिक्त व्हील बैराजों को ठेकेदारों को किराए पर भी दे देवे। लेकिन, आबूरोड नगर पालिका ने इतने कितने व्हील बैराज खरीदे कि वो खुदके अधीन आने वाले वार्डों के अलावा ठेकेदारों को किराए पर देकर भी काम कर रही है।

इसके अलावा ठेकेदार को संविदा देते हुए एफीडेविट भी लिखवाए जाने की बात ठेके की शर्त में लिखी है। सफाई ठेके में उपकरण संवेदक के खुदके होने की शर्त है। यदि वो खुदके उपकरण उपयोग में नहीं ले रहा है मतलब वो ठेके की महत्वपूर्ण षर्त की ही पालना नहीं कर रहा है। ऐसे में ठेका निरस्त करने और शास्ति लगाने का अधिकार नगर पालिका को मिल जाता है।

-इनका कहना है….

ये व्हील बैराज पहले के ठेकेदार के रह गए होंगे। पहले भी ऐसा मामला आया था तो हमने ठेकेदार से किराया वसूल लिया था। ठेकेदार के पास नगर पालिका के व्हील बैराज हैं तो सफाई निरीक्षक को बोलकर इन्हें वापस मंगवाएंगे।

मगनदान चारण

नगर पलिका अध्यक्ष, आबूरोड।