Home Bihar फेसबुक एकाउंट से गौरव की हत्या का पता लगाएगी पुलिस

फेसबुक एकाउंट से गौरव की हत्या का पता लगाएगी पुलिस

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फेसबुक एकाउंट से गौरव की हत्या का पता लगाएगी पुलिस
Central School class 10th student Gaurav suicide case in muzaffarpur
Central School class 10th student Gaurav suicide case in muzaffarpur
Central School class 10th student Gaurav suicide case in muzaffarpur

मुजफ्फरपुर। सेंट्रल स्कूल के छात्र गौरव की आत्महत्या का राज पुलिस उसके फेसबुक एकाउंट से पता करने की कोशिश कर रही है। गौरव के फेसबुक एकाउंट और मैसज बॉक्स से कई अहम जानकारियां मिली हैं।

आत्महत्या करने से करीब तीन माह पहले गौरव ने प्रेमिका के बिछड़ने का दर्द फेसबुक पर शेयर किया था। गौरव ने 13 अगस्त को फेसबुक वॉल पर पेड़ से लटकते व्यक्ति के कैरिकेचर के साथ शायरी की कुछ लाइनें भी पोस्ट की थीं।

उसने लिखा ‘जान से भी ज्यादा उन्हें प्यार करते थे, याद उन्हें दिन रात किया करते थे, अब उन राहों से गुजरा नहीं जाता, जहां बैठकर उनका इंतजार किया करते थे’। साथ ही ‘मिस यू रिया’ भी लिखा है। इस पोस्ट पर बड़े भाई सौरभ और दोस्तों ने कमेंट भी किया है।

गौरव ने अपनी एक लड़की दोस्त से इस मुद्दे पर मैसेज के जरिये बातें भी की थी। गौरव ने 21 अगस्त को फेसबुक पर हाथ में जहर लिये युवक के कैरिकेचर को पोस्ट कर ‘फीलिंग अपसेट’ लिखा है।

पोस्ट पर भाई सौरभ ने पूछा कि ओए सब पिक क्यों डाला, जल्दी हटा। इस पर गौरव का जवाब था कि आपका कारण नहीं, आप लोग सब जानते ही हैं। सौरभ ने पूछा किसके कारण तो गौरव ने इसका कोई जवाब नहीं दिया।

सौरभ ने पोस्ट को डिलीट करने का आग्रह भी किया। पुलिस अधिकारी इन दो पोस्ट के आधार पर मान रहे हैं गौरव मानसिक रूप से परेशान था। आत्महत्या के पीछे प्रेम प्रसंग को मुख्य कारण मान रहे हैं।

गौरव मूल रूप से बेगूसराय का रहने वाला था।सेंट्रल स्कूल के दसवीं के छात्र गौरव ने 21 नवंबर को आत्महत्या की थी। उसने हनुमान नगर में निर्माणाधीन घर में फंदा लगाकर जान दे दी थी।

पिता ने काजीमोहम्मदपुर थाने में यूडी केस दर्ज कराया था। दोस्तों ने स्कूल की एक शिक्षिका पर गौरव को मानसिक रूप से परेशान करने का आरोप लगाते हुए स्कूल में तोड़फोड़ की थी।

गौरव की खुदकुशी का मामला सूबे के दूसरे शहरों में भी गूंजा है। बीते सप्ताह गया के निजी स्कूल ने छात्रों के तनाव के मुद्दे पर अभिभावकों के साथ कार्यशाला की थी।

कार्यशाला में गौरव के मामले को उदाहरण के तौर पर अभिभावकों के सामने रखा गया। काजी मोहम्मदपुर के थानेदार शरतेंदु शरत ने कहा कि छात्र-अभिभावक व स्कूल प्रबंधन के बीच बड़ा अंतर बन चुका है। इस अंतर को संवाद के जरिये दूर किया जा सकता है।