Home Business …तो माल्या ने की सीएमडी से मुलाकात और तुरंत पास हो गया 350 करोड़ को लोन

…तो माल्या ने की सीएमडी से मुलाकात और तुरंत पास हो गया 350 करोड़ को लोन

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…तो माल्या ने की सीएमडी से मुलाकात और तुरंत पास हो गया 350 करोड़ को लोन
ED reveals how vijay mallya managed quick idbi loan
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नई दिल्ली। शराब कारोबारी विजय माल्या के लोन धोखाधड़ी मामले की जांच कर रहे प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने इस मामले में अहम खुलासा करते हुए बताया कि इस माल्या ने छुट्टी वाले दिन IDBI बैंक के तब के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर से मुलाकात की थी, जिसके बाद आनन फानन में किंगफिशर एयरलाइंस को कर्ज की पहली दो किस्तों में 350 करोड़ रुपये जारी कर दिए गए।

 

ईडी ने बताया कि किंगफिशर एयरलाइंस की वित्तीय स्थिति कमजोर होने के बावजूद दोनों संगठनों ने आपराधिक साजिश के तहत यह समझौता करते हुए कर्ज जारी किया। आईडीबीआई बैंक ने समझौते के तहत कुल 860.92 करोड़ रुपये का लोन जारी किया।

मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच कर रही एजेंसी ने कहा कि जांच में पता चला कि अब बंद हो चुकी किंगफिशर एयरलाइन को कर्ज देने के लिए बैंक ने जो तरीका अपनाया, वह धोखाधड़ी वाले तरीके से ही तैयार की गई। माल्या और किंगफिशर एयरलाइंस का यह कर्ज चुकाने का कोई इरादा ही नहीं था।

ईडी की जांच रिपोर्ट के मुताबिक, पीएमएलए की जांच से पता चलता है कि किंगफिशर और उसके प्रवर्तकों द्वारा लोन गारंटी के रूप में जिन चीजों की पेशकश की गई, उनकी गुणवत्ता और बाजार मूल्य का आकलन नहीं किया गया। बैंक ने अपनी ओर से पूरी जांच पड़ताल नहीं की और लोन की कुल 350 रुपये की पहली दो किस्तों को जारी करने में कुछ ज्यादा जल्दबाजी दिखाई गई।

रिपोर्ट में कहा गया है कि यह साफ है कि इस कर्ज का वितरण माल्या तथा बैंक के तत्कालीन सीएमडी योगेश अग्रवाल के बीच छुट्टी पर बैठक के बाद किया गया। ऐसे में 7 अक्टूबर, 2009 को 150 करोड़ रुपये तथा 4 नवंबर, 2009 को 200 करोड़ रुपये की लोन की किस्तों को जारी करने की वजह के बारे में पूछने की जरूरत नहीं रह जाती।

आपको बता दें कि इस मामले में सीबीआई ने हाल ही में अग्रवाल और आठ अन्य आरोपियों को अरेस्ट किया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि बड़ी राशि वाले इस लेनदेन की किंगफिशर एयरलाइंस को मंजूरी तदर्थ आधार पर बिना जांच पड़ताल के कर दी गई, जिससे पता चलता है कि बैंक अधिकारियों तथा एयरलाइन के प्रवर्तकों ने गहरी साजिश रची थी।

एजेंसी ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि अग्रवाल ने ईडी को पिछले साल 23 मार्च को जांच अधिकारी (आईओ) के सामने दिए बयान में कहा था कि इस मामले में अक्तूबर, 2009 में माल्या ने उन्हें उनके दफ्तर में फोन कर अगले दिन बैठक के लिए कहा था। चूंकि अगले दिन छुट्टी थी, ऐसे में अग्रवाल ने उसके बाद मिलने की बात कही, लेकिन माल्या ने कहा कि वह अगले दिन शाम को मुंबई से बाहर जा रहे हैं और यह मामला जरूरी है, इसलिए अगर अग्रवाल उनसे अगले दिन मिल सकें, तो वह आभारी रहेंगे।

आईडीबीआई बैंक के पूर्व सीएमडी ने बताया कि माल्या ने अगले दिन उनके साथ बैंक के पूर्व एमडी तथा मौजूदा सलाहकार एवं आईडीबीआई बैंक के एक कार्यकारी निदेशक के साथ मुलाकात की। अग्रवाल ने बताया कि माल्या ने सूचित किया कि किंगफिशर एयरलाइंस गंभीर संकट में है और उसे अपनी उड़ान जारी रखने के लिए तत्काल धन की जरूरत है।