Home Headlines मथुरा, वृंदावन की तरह पाली की गलियों में निकलने लगीं प्रभातफेरियां

मथुरा, वृंदावन की तरह पाली की गलियों में निकलने लगीं प्रभातफेरियां

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मथुरा, वृंदावन की तरह पाली की गलियों में निकलने लगीं प्रभातफेरियां
Prabhat pheri trend in pali like Mathura and Vrindavan
Prabhat pheri trend in pali like Mathura and Vrindavan
Prabhat pheri trend in pali like Mathura and Vrindavan

पवन पाण्डेय
पाली। पाली शहर में भी मथुरा और वृंदावन की तरह हर सुबह प्रभातफेरियों के निकलने का सिलसिला चल पडा है। ब्रजमय हो रहा है शहर, आजकल पाली शहर भक्तिमय हो गया है।

पौ फटने के साथ ही पाली की गलियों में भी राधे गोविन्द, गोविन्द ​गोविंद, गोविन्द हरे कृष्ण हरे कृष्ण, श्रीमन् नाराण नारायण, हरे राम हरे राम, जय श्री राम गूंज सुनाई पडने लगती है।कुछ मोहल्लों में प्रभातफेरी का जो सिलसिला वर्षों पहले शुरू हुआ था वह अब शहर में फैलाव लेता जा रहा है।

उल्लेखनीय है कि पिछले माह श्रीमदभगवत कथा के दौरान गोवत्स राधाकृष्ण महाराज ने शहरवासियों से प्रतिदिन प्रभातफेरी शहर के हर गली मोहल्लों में निकालने की विनती की थी। गोवत्स राधकृष्ण राधकृष्ण महाराज से प्रेरित होकर शहर में चौदह जगहों पर प्रतिदिन प्रभातफेरी निकाली जाने लगी है।

प्रभातफेरी में हर दिन महिला पुरुषों की संख्या बढ़ती जा रही है। गोपाल गोयल व परमेश्वर जोशी का कहना है कि प्रभातफेरी के जरिए उन माताओं, बहनों और लोगों को सुबह ही भगवान का स्मरण हो जाता है जो किसी कारणवशी पूजा अर्चना नहीं कर पाते।

उन्होंने कहा कि पक्षी जानवर कीड़े मकोड़े बोल नहीें सकते पर महसूस कर सकते हैं भगवान के गीत गाते हुए जिस रास्ते से प्रभातफेरी निकलती है कम से कम उस रास्ते में आने वाले हर जीव का जीवन धन्य हो जाए यही विनती रहती है।

उन्हें यह प्रेरणा श्रीमदभगवत कथा के दौरान मिली, वह कहते हैं कि जब मथुरा, वृन्दावन और ब्रज में प्रतिदिन प्रभातफेरी निकल सकती है तो हम हमारे शहर में क्यों नहीं निकाल सकते।

श्यामसुन्दर गुप्ता ने वताया कि कुछ मंदिरों में प्रतिदिन सुन्दरकाण्ड का पाठ किया जाता है यदि शहरवासी भगवान भक्ति का लाभ लेना चाहते हैं तो शहर के कुछ और मंदिरों में भी मंगलवार को सुन्दरकाण्ड पाठ का आयोजन शुरु किया जा सकता है।

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पंडित जगन्नाथन आचार्य ने वताया कि वह प्रतिदिन भगवान राधकृष्ण की पूजा करते हैं। गीता भवन में महिलाएं रोजाना भगवान के भजन गाने आती हैं। यह प्रभातफेरी निरंतर चलेगी। मुकेश शर्मा ने वताया कि हम कुछ लोंगों ने मिलकर फागमंडली बनाई है जो प्रतिदिन मंदिर या सामाजिक संस्थाओं में पूरे फाल्गुन माह भगवान श्यामसुन्दर के गीतों को गाएंगे। वे फागोत्सव का आयोजन निशुल्क करते है।

प्रभातफेरी में भंवरदास निंबार्क, भगवान स्वरुप, रमेश चौधरी एडवोकेट, मोहन माहेश्वरी, ताराचंद टाक, दिनेश जोशी, अशोक जोशी, किशन प्रजापत, भीमराज चौधरी, सहित बडी संख्या में महिलाएं व पुरुष प्रतिदिन भाग लेने वालों में से हैं।

इसी प्रकार शहर में प्रतिदिन प्रभातफेरी में नया हाउसिंग बोर्ड से पचपन, रजत नगर से एक सौ इक्यावन, दुर्गा कॉलोनी से साठ, रामनगर से एक सौ पच्चीस, सिंधी कॉलोनी से चालीस, रघुनाथजी मंदिर से पचपन, आदर्श नगर से तीस, शिवाजी नगर से एक सौ एकहत्तर, टैगोर नगर से पचपन, वीरदुर्गादास नगर से इक्यावन, मिल सोसायटी से पचपन, सूर्या कॉलोनी से दस, राजपुरोहित छात्रावास से तीस, पुराना हाउसिंग बोर्ड से पचपन भगवत भक्त प्रतिदिन बड़े ही उल्लास के साथ भगवान का स्मरण करते हुए शहर को भक्तिमय बनाते हैं।

महेश वाटिका में होगा फागोत्सव

गोभक्त राधाकृष्ण महाराज के सान्निध्य में महेश वाटिका में बुधवार शाम को फागोत्सव का आयोजन किया जाएगा। जिसमें भगवान श्यामसुन्दर के भजनों की प्रस्तुति राधकृष्ण महाराज देंगे वहीं होली के गानों व फागों के साथ शहरवासी फूलों की होली खेलकर भगवान श्रीकृष्ण राधा गोपियों एवं बरसाने की होली के रुप में प्रदर्शित करेंगे।

बुधवार को सभी प्रभातफेरी निकालने वाले श्रद्धालु शिवाजी नगर मंदिर पर एकत्रित होंगे। वहां से प्रभातफेरी निकाली जाएगी। सभी भगवद भक्तों से प्रार्थना है कि प्रभातफेरी में आवश्यक रुप से पधारें एवं होली के पर्व एवं प्रभातफेरी का आनंद लेवें।