नई दिल्ली। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने दो अलग-अलग फैसलों में रसोई गैस (एलपीजी) सब्सिडी के लिए कुल 42,000 करोड़ रुपए के प्रस्तावों को मंजूरी दी है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में दोनों प्रस्तावों को मंजूरी प्रदान की गई। केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि उज्ज्वला योजना की लाभार्थियों को मौजूदा वित्त वर्ष 2025-26 में साल में नौ रिफिल पर 300 रुपए प्रति सिलेंडर की सब्सिडी दी जाएगी। इसके लिए 12,000 करोड़ रुपए के प्रावधान की मंजूरी दी गई है। इससे पहले, अक्टूबर 2023 से साल में 12 रिफिल पर 300 रुपए प्रति सिलेंडर की सब्सिडी दी जा रही थी।
सब्सिडी का लाभ योजना की 10.33 करोड़ लाभार्थियों को होगा। सरकार ने उज्ज्वला योजना के तहत रिफिल बढ़ाने और गरीब उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए मई 2022 में सालाना 12 रिफिल पर 200 रुपए प्रति सिलेंडर लक्षित सब्सिडी की शुरुआत की थी जिसे अक्टूबर 2023 में बढ़ाकर 300 रुपए किया गया था।
इसके अलावा, मंत्रिमंडल ने रसोई गैस के घरेलू सिलेंडर के मूल्य नियंत्रण के कारण तेल विपणन कंपनियों को होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए 30 हजार करोड़ रुपए के प्रावधान को भी मंजूरी दी है। आधिकारिक जानकारी के अनुसार, आम उपभोक्ताओं पर अनुचित बोझ न पड़े इसके लिए घरेलू गैस सिलेंडर की आपूर्ति नियंत्रित मूल्य पर की जाती है। वित्त वर्ष 2024-25 में अंतर्राष्ट्रीय बाजार में एलपीजी की ऊंची कीमतों के कारण तीनों सार्वजनिक तेल विपणन कंपनियों को इस मद में काफी नुकसान हुआ है और अब भी उन्हें नुकसान उठाना पड़ रहा है।
तीनों तेल विपणन कंपनियों इंडियन ऑयर कॉर्पोरेशन, भारत पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन और हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन को 12 किस्तों में इस राशि का भुगतान किया जाएगा। तेल एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय यह तय करेगा कि कंपनियों के बीच राशि का बंटवारा किस प्रकार होगा।